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- Author, लिली जमाली
- पदनाम, बीबीसी संवाददाता
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7 जून 2025
एलन मस्क ने जब हाल में एलान किया था कि वो राजनीति से पीछे हट रहे हैं तो निवेशकों में उम्मीद जगी थी कि वो अपनी टेक्नोलॉजी कंपनियों में अब ज़्यादा सक्रिय भूमिका निभाएंगे.
हालांकि हाल में अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के साथ मस्क के टकराव और व्हाइट हाउस के राज़ सार्वजनिक तौर पर खोलने के बाद ऐसा लगता है कि मस्क की बदली हुई प्राथमिकताएं उन्हें उतनी राहत नहीं देंगी जितनी वो उम्मीद कर रहे थे.
उम्मीद थी कि मस्क जनता की नज़रों से दूर रहकर टेस्ला और अपनी दूसरी कंपनियों की संपत्ति बढ़ाने के काम पर ध्यान देंगे.
लेकिन अब उन्हें अपने प्रमुख ग्राहकों में से एक अमेरिकी (संघीय) सरकार से ही बहिष्कार की धमकी मिल रही है.
गुरुवार को टेस्ला के शेयरों में भारी गिरावट नज़र आई. कंपनी का शेयर 14 फ़ीसदी तक गिर गया क्योंकि मस्क ने सोशल मीडिया पर राष्ट्रपति ट्रंप के ख़िलाफ़ टिप्पणी की.
शुक्रवार को ट्रंप के साथ उनकी गर्मागर्मी के थोड़ा ठंडा होने के संकेत मिले तो इसके शेयरों में कुछ रिकवरी दिखी.
फिर भी मस्क को फोन छोड़ कर काम पर लगने की सलाह देने वाले निवेशकों और विश्लेषकों के अनुसार हालात बहुत अच्छे नहीं दिख रहे.
‘टेस्ला काफी पिछड़ गई है’
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कुछ लोगों का कहना है कि मस्क के कारोबार की समस्याएं, राष्ट्रपति ट्रंप से हुए उनके विवाद से कहीं ज़्यादा गहरी हैं.
वरिष्ठ टेक्नोलॉजी पत्रकार कारा स्विशर मानती हैं कि टेस्ला के लिए खासी दिक्कतें हैं. इस सप्ताह सेन फ्रांसिस्को मीडिया समिट के बाहर उन्होंने बीबीसी से बात करते हुए कहा, ”टेस्ला अब ख़त्म हो गई है”.
उन्होंंने कहा, ”ये एक बेहतर कार कंपनी थी. ये ऑटोनोमस टैक्सी स्पेस में (रोबोटिक्स की मदद से चलने वाली ड्राइवर रहित कारें) प्रतिस्पर्द्धा कर सकती थी लेकिन अब ये काफी पिछड़ गई है.”
टेस्ला कंपनी की कार पिछले काफी वक़्त से अपनी प्रतिद्वंद्वी वेमो से बराबरी की कोशिश कर रही है. वेमो गूगल की पैरेंट कंपनी अल्फ़ाबेट की कार है.
सेन फ्रांसिस्को की सड़कों पर वेमो कार पिछले कई सालों से दौड़ रही हैं. और अब वो और भी कई शहरों में दिखने लगी है.
इस महीने, एलन मस्क को टेक्सास के ऑस्टिन में टेस्ला की ऑटोनोमस टैक्सियों की लॉन्चिंग के मौके़ पर पहुंचना है.
मस्क ने पिछले सप्ताह एक्स पर एक पोस्ट कर बताया था कि टेस्ला बगैर ड्राइवर के चलने वाली अपनी मॉडल वाई की टेस्टिंग करती रही है.
वेडबुश सिक्योरिटीज़ के एनालिस्ट डैन इवेस ने इस सप्ताह बीबीसी से कहा, “मेरा मानना है कि आने वाले दिनों में टेस्ला की कुल संपत्ति में 90 फ़ीसदी हिस्सा ऑटोनोमस और रोबोटिक्स पर चलने वाली कारों की बिक्री से होने वाली कमाई का होगा.”
इवेस ने कहा, “मस्क के लिए पहला काम ये सुनिश्चित करना है कि ऑटोनोमस विज़न पर काम की ज़बरदस्त शुरुआत हो.”
लेकिन माना जा रहा है कि मस्क का ध्यान बंटा हुआ है और अब इस प्रोजेक्ट की कामयाबी में लंबा वक़्त लग सकता है.
एक और चीज़ ध्यान में रखनी होगी और वो है कि खुद मस्क इसके लिए कितने उत्साहित हैं.
क्या मस्क को इसकी परवाह है?
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सिलिकॉन वैली में इस बात पर चर्चा कम है कि क्या मस्क चीज़ों को बदल सकते हैं, बल्कि इस बात पर ज़्यादा चर्चा है कि कि क्या उन्हें इसकी परवाह है.
जरबर कावासाकी वेल्थ एंड इन्वेस्टमेंट मैनेजमेंट के अध्यक्ष और सीईओ रॉस जरबर ने कहा, “मस्क जब किसी चीज़ पर फोकस करते हैं तो काफी ताकतवर शख़्स दिखते हैं.”
“इससे पहले, उन्होंने ये तब साबित किया था कि जब उन्होंने कहा था कि वो इलेक्ट्रिक वाहन बनाएंगे. ऐसी तकनीक जो कोई और नहीं बना सकता. उन्होंने ये भी साबित किया कि वो रॉकेट बनाएंगे. उन्हें बहुत कुछ साबित करना है.”
टेस्ला के शेयरों में लंबे वक़्त से निवेश करने वाले जरबर को अब इससे चिढ़ हो गई है और वो दक्षिणपंथी राजनीति में मस्क के कदम रखने के बाद से टेस्ला में अपनी होल्डिंग कम कर रहे हैं.
ट्रंप और मस्क के बीच टकराव को लेकर गुरुवार को उन्होंने “बेहद परेशान करने वाला दिन” कहा.
सोशल मीडिया पर मस्क की ओर से ट्रंप पर किए गए हमले के बारे में वो कहते हैं, ”ये बेहद मूर्खता भरी सोच है कि आप अमेरिकी राष्ट्रपति से ज्यादा ताक़तवर हैं.”
बीबीसी ने मस्क से प्रतिक्रिया लेने के लिए एक्स, टेस्ला और स्पेसएक्स से संपर्क किया लेकिन अब तक कोई जवाब नहीं मिला है.
टेस्ला की मुश्किलें
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एलन मस्क के सामने एक ख़ास समस्या ये है कि डोनाल्ड ट्रंप को दुश्मन बनाने से पहले उनकी कार कंपनी के ख़िलाफ़ जमीनी स्तर पर एक सोशल मीडिया कैंपेन शुरू हो गया था.
जब से ट्रंप ने राष्ट्रपति पद संभाला था तभी से टेस्ला के ख़िलाफ़ कई शहरों में प्रदर्शन शुरू हो चुके थे.
अप्रैल में, टेस्ला ने पहली तिमाही में कारों की बिक्री में 20 फ़ीसदी की गिरावट दर्ज की. कंपनी के मुनाफ़े में 70 फ़ीसदी से अधिक की गिरावट आई और शेयरों की कीमतें भी गिर गईं.
फरवरी में कैलिफ़ोर्निया के बर्कले में टेस्ला डीलरशिप के बाहर एक प्रदर्शन में हिस्सा ले रहीं लिंडा कोइस्टिनन ने मुझसे कहा, “उन्हें (मस्क को) सरकार को अलग-अलग कर टुकड़ों में बांटकर हमारे लोकतंत्र की तकदीर का फ़ैसला करने का हक नहीं है. मस्क जो कर रहे हैं वो सही नहीं है.”
सोशल मीडिया पर ‘टेस्ला टेक डाउन’ कैंपेन चलाने वालों में शामिल डिसइन्फॉरेमशन रिसर्चर जॉन डोनोवन ने कहा, ”मामला टेक्नोलॉजी या टेस्ला कंपनी का नहीं है.”
उन्होंने कहा, ”यह उस तरीके़ के बारे में है जिसमें टेस्ला के शेयरों को हथियार बनाया जा रहा है. इसने मस्क को ऐसी जगह पहुंचा दिया है जहां उनके पास बगैर किसी पारदर्शिता के बहुत ज़्यादा ताक़त आ गई है.”
मस्क के साम्राज्य का एक और हिस्सा जिसने आलोचकों की नाराज़गी बढ़ाई है, वो है उनका सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म एक्स, जिसे पहले ट्विटर के नाम से जाना जाता था.
जॉन डोनोवन ने कहा, “उन्होंने ट्विटर इसलिए खरीदा ताकि उनकी धाक हो और वो एक झटके में करोड़ों लोगों तक पहुँच सकें.”
पर्सनल ब्रांड
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हालांकि एक और संभावना बनती दिख रही है.
क्या ट्रंप के साथ हाई-प्रोफ़ाइल टकराव से मस्क को उन लोगों के बीच फिर से पैठ बनाने में मदद मिल सकती है, जो राष्ट्रपति के साथ उनकी नज़दीकियों की वजह से उनके ख़िलाफ़ हो गए थे?
मूर इनसाइट्स एंड स्ट्रेटजी के मुख्य विश्लेषक पैट्रिक मूरहेड को लगता है कि ये संभव है.
फ़ोन पर एक इंटरव्यू में मूरहेड ने बताया,”अमेरिका बहुत अधिक माफ़ करने वाला देश है. इन चीज़ों में समय लगता है, लेकिन ऐसा भी नहीं है ये पहले नहीं हुआ है.”
वहीं कारा स्विशर कहती हैं कि मस्क के पर्सनल ब्रांड की तुलना दो दशक से भी ज़्यादा पहले माइक्रोसॉफ्ट के सह-संस्थापक रहे बिल गेट्स के पर्सनल ब्रांड से की जा सकती है.
वो कहती हैं, ”गेट्स को एक समय उनके अहंकार और असभ्य व्यक्तित्व के लिए सिलिकन वैली का डार्थ वाडर (तकनीकी जगत में जानामाना ख़लनायक चरित्र) कहा जाता था. लेकिन आज अपनी कमियों के बावजूद गेट्स ने अपनी छवि को स्थापित करने में काफी हद तक कामयाबी हासिल कर ली है.”
”वक्त के साथ गेट्स ने सीखा, वो परिपक्व हुए. लोगों में बदलाव हो सकता है. हालांकि ये साफ़ है कि मस्क के साथ दिक्कतें हैं.”
स्पेस एक्स का क्या होगा?
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मस्क की दिक्कत ये है कि वो क्या करेंगे केवल उसपर उनका और उनकी कंपनियों का भविष्य टिका नहीं है, बल्कि इस पर भी टिका है कि अब ट्रंप क्या करेंगे.
ट्रंप को पहले मस्क की ज़रूरत थी ख़ासकर राष्ट्रपति पद की रेस में, लेकिन अब ये साफ़ नहीं है कि उन्हें मस्क की ज़रूरत है.
नोआपिनियन सबस्टैक के लेखक नोआ स्मिथ ने कहा है कि क्रिप्टोकरेंसी में ट्रंप की एंट्री (ये उचित या अनुचित है, इस पर बहस हो सकती है) के बाद मस्क पर उनकी निर्भरता ख़त्म हो गई है.
वो कहते हैं, ”मुझे लगता है कि ऐसा इसलिए किया गया ताकि वो एलन मस्क के प्रभाव से बाहर निकल सकें.”
गुरुवार को ट्रंप की शायद सबसे ख़तरनाक टिप्पणी ये थी कि वो मस्क की कंपनियों के साथ सरकारी कॉन्ट्रैक्ट को रद्द करने का आदेश दे सकते हैं, जो लगभग 38 अरब डॉलर मूल्य के कॉन्ट्रैक्ट हैं.
इसका एक बड़ा हिस्सा मस्क की रॉकेट बनाने वाली कंपनी स्पेसएक्स को मिलता है. ट्रंप के इस कदम से स्पेसएक्स का भविष्य ख़तरे में पड़ सकता है.
हालांकि ट्रंप की ये धमकी जितनी खोखली दिखती है उससे ज़्यादा साबित हो सकती है.
ऐसा इसलिए क्योंकि स्पेसएक्स का ड्रैगन स्पेसक्राफ़्ट लोगों और कार्गो को इंटरनेशनल स्पेस स्टेशन तक पहुंचाता है. फिलहाल नासा के तीन अंतरिक्ष यात्री स्पेस स्टेशन में मौजूद हैं.
ये दिखाता है कि स्पेसएक्स ने खुद को अमेरिकी अंतरिक्ष और राष्ट्रीय सुरक्षा तंत्र के भीतर इतना ताक़तवर बना लिया है कि ट्रंप के लिए अपनी धमकी को अंजाम देना मुश्किल हो सकता है.
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आप मस्क की इंटरनेट सैटेलाइट कंपनी, स्टारलिंक के बारे में भी ऐसा ही कह सकते हैं. इसका विकल्प ढूंढना आसान नहीं है.
लेकिन ट्रंप क्या कर सकते हैं अगर इसकी सीमा है, तो यही बात मस्क पर भी लागू होती है.
ट्रंप के साथ टकराव के बाद उन्होंने ड्रैगन स्पेसक्राफ्ट का काम बंद करने की धमकी दी थी. लेकिन कुछ ही घंटों के बाद वो इससे पीछे हट गए.
एक एक्स यूज़र ने उन्हें सलाह दी कि “शांत हो जाएं”. इस पर उन्होंने लिखा “अच्छी सलाह है. ठीक है, हम ड्रैगन का काम बंद नहीं करेंगे.”
अब एक बात तो साफ़ है, वो ये कि मस्क और ट्रंप की दोस्ती ख़त्म हो गई है. लेकिन ये पूरी तरह साफ नहीं है कि दोनों की एक दूसरे पर निर्भरता ख़त्म हुई है या नहीं.
बहरहाल, मस्क के कारोबार का भविष्य चाहे जो हो लेकिन ऐसा लगता है कि ट्रंप और उनके प्रशासन के कामकाज का उनके बिज़नेस पर बड़ा असर रहेगा.
बीबीसी के लिए कलेक्टिव न्यूज़रूम की ओर से प्रकाशित
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